सामाजिक न्याय एवं आधिकारिता राज्य मंत्री श्री विजय साम्पला ने राज्यसभा में बताया की केंद्र सरकार राष्ट्रीय विदेश छात्रवृत्ति योजना, चयनित अनुसूचित जाति, विमुक्त, घुमन्तू, अर्ध-घुमन्तू जनजातियों, भूमिहीन कृषि मजदूरों तथा परम्परागत कारीगर छात्रों को अध्ययन के विशिष्ट क्षेत्रों में विदेश में स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों तथा पीएच.डी जैसी उच्च शिक्षा जारी रखने के लिए वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाती है।
यह योजना, संस्थानों द्वारा प्राप्त वास्तविक फीस, मासिक भरण-पोषण भत्ता, वीजा फीस, बीमा प्रीमियम्, वार्षिक आकस्मिक भत्ते, प्रासंगिक यात्रा भत्ते आदि उपलब्ध कराती है। भावी छात्रवृत्ति प्राप्तकर्त्ता की आयु 35 वर्ष से अधिक नहीं होनी चाहिए। प्रत्येक वर्ष दी जाने वाली छात्रवृत्ति की कुल संख्या 60 है तथा महिला उम्मीदवारों हेतु 30% छात्रवृत्तियां निर्धारित है। योजना के तहत वित्तीय सहायता पीएच.डी के लिए अधिकतम 4 वर्षों के लिए तथा स्नातकोत्तर कार्यक्रम के लिए तीन वर्षों के लिए उपलब्ध करायी जाती है।
संशोधित योजना जो चयन वर्ष 2013-14, से प्रभावी हुई है, के अनुसार:-
(i) पात्रता हेतु वार्षिक आय सीमा को 3 लाख रुपए से बढ़ाकर 6 लाख रुपए कर दिया गया है।
(ii) नए स्लाटों की संख्या प्रतिवर्ष 30 से बढ़ाकर 60 कर दी गई है।
(iii) चयन प्रक्रिया को युक्ति संगत बना दिया गया है।
योजना के तहत निधियों की वास्तविक निर्मुक्ति विगत तीन वर्षों के दौरान बजटीय आवंटनों से बढ़ गयी है जिसे नीचे सारणी में दर्शाया गया हैं :-
वर्ष
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बजट आवंटन (करोड़ रुपए में)
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जारी की गई राशि (करोड़ रुपए में) |
अभ्युक्ति
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2011-12
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6.00
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7.07
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बजट आवंटन के अलावा व्यय की व्यवस्था अन्य योजनाओं की बचतों से की गयी है।
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2012-13
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6.00
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6.89
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2013-14
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6.00
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6.13
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2014-15 के दौरान बजट आवंटन 6.00 करोड़ रुपए है तथा 21.11.2014 तक 3.68 करोड़ रुपए की राशि जारी की जा चुकी है।
इस योजना के तहत प्रति वर्ष 30% छात्रवृत्तियां महिला उम्मीदवारों के लिए तय की गई है।
तथापि योजना की शर्तों के अनुसार पर्याप्त संख्या में महिला उम्मीदवार उपलब्ध नहीं होती हैं, उस स्थिति में उपयुक्त पुरुष उम्मीदवारों का चयन करके अप्रयुक्त सलाटों का उपयोग किया जाता है।
चयन वर्ष 2011-12 तथा 2012-13 के दौरान, चुने गए उम्मीदवारों की कुल संख्या क्रमशः 30 तथा 23 थी, जिनमें से महिला उम्मीदवारों की संख्या क्रमशः 4 और 9 थी। शैक्षिक सत्र 2013-14 हेतु लागू संशोधत योजना में, पात्र छात्र, जिन्होंने शैक्षिक सत्र 2013-14 के दौरान पहले ही से विदेश में किसी मान्यताप्राप्त संस्थान/विश्वविद्यालय में चयनित पाठ्यक्रमों में प्रवेश ले लिया है, उन्हें पहले आओ-पहले पाओ आधार पर स्लाट आवंटित किए जाएंगे। 2013-14 शैक्षिक सत्र के लिए छात्रवृति हेतु 32 आवेदकों की अनंतिम रुप से सिफारिश की गई है, जिसमें से 6 महिला उम्मीदवार हैं। महिलाओं का कम प्रतिनिधित्व, पात्र महिला उम्मीदवारों से पर्याप्त संख्या में आवेदन प्राप्त न होने के कारण है। महिला उम्मीदवारों सहित सभी लोगों में इस योजना को लोकप्रिय बनाने के लिए , इसका विस्तृत प्रचार किया जाता है।
स्त्रोत: पसूका, इंटरनेट
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